केरल विधानसभा में राहुल गांधी को जान से मारने की धमकी वाली टिप्पणी पर हंगामा

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तिरुवनंतपुरम{ गहरी खोज }: केरल विधानसभा में कांग्रेस नेता राहुल गांधी को कथित तौर पर जान से मारने की भाजपा के एक नेता द्वारा दी गयी धमकी का मुद्दा उठाने की अनुमति न मिलने पर विपक्षी सदस्यों के कड़े विरोध के बाद मंगलवार को सदन की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई।
कांग्रेस के नेतृत्व वाले यूडीएफ ने अन्य कामकाज स्थगित कर इस मामले पर चर्चा की मांग करते हुए कार्य स्थगन प्रस्ताव का नोटिस दिया था। विधानसभा अध्यक्ष ए एन शमसीर ने केरल प्रदेश कांग्रेस समिति (केपीसीसी) प्रमुख सनी जोसेफ के नोटिस को यह कहते हुए अनुमति देने से इनकार कर दिया कि इस मुद्दे को स्थगन प्रस्ताव के रूप में प्रस्तुत करने के लिए तत्काल कोई प्रासंगिकता या महत्व नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि जोसेफ स्थगन प्रस्ताव के बजाय इस मामले को अन्य तरीके से उठा सकते हैं। विपक्ष के नेता वी डी सतीशन ने अध्यक्ष के निर्णय पर सवाल उठाया और जानना चाहा कि एक टेलीविजन बहस के दौरान एक भाजपा नेता द्वारा की गई इस टिप्पणी को अप्रासंगिक कैसे माना जा सकता है कि लोकसभा में विपक्ष के नेता पर गोलियां चलाई जाएंगी। उन्होंने कहा कि विपक्ष अध्यक्ष की इस टिप्पणी पर कड़ा विरोध दर्ज कराता है कि ‘‘मामला गंभीर नहीं है।’’
सतीशन ने कहा कि आरोपी भाजपा नेता के खिलाफ सोमवार को ही मामला दर्ज किया गया था, जबकि कुछ दिन पहले ही उन्होंने एक मलयालम समाचार चैनल पर बहस के दौरान जान से मारने की धमकी दी थी। उन्होंने कहा ‘‘यह सरकार उस व्यक्ति को बचाने की कोशिश कर रही है। हमें इस पर कड़ी आपत्ति है।’’ इस पर विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि वह भी राहुल गांधी का सम्मान करते हैं। उन्होंने दोहराया, ‘‘लेकिन, इस विशेष मामले का सदन में उठाए जाने का कोई औचित्य नहीं है।’’ उन्होंने कहा कि टेलीविजन पर बहस के दौरान किसी व्यक्ति द्वारा की गई टिप्पणी सदन में नहीं उठाई जा सकती।
उनकी इस व्यवस्था से नाराज़ यूडीएफ सदस्यों ने कड़ा विरोध जताते हुए अध्यक्ष के आसन की ओर बढ़ने की कोशिश की। लेकिन विधानसभा कर्मियों ने उन्हें आगे बढ़ने से रोक दिया।
विरोध को नजरअंदाज करते हुए, अध्यक्ष ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के जरिये लोक महत्व से जुड़े मुद्दे उठाने के लिए कहा और कामकाज को आगे बढ़ाया। ध्यानाकर्षण प्रस्ताव का जवाब देते हुए, कानून मंत्री पी. राजीव ने प्रदर्शनकारी कांग्रेस विधायकों पर कटाक्ष किया और कहा कि उन्हें राहुल गांधी से कोई लगाव नहीं है, अन्यथा वे इस मामले को सदन में बहुत पहले ही उठा लेते। विरोध प्रदर्शन तेज होने पर, विधानसभा अध्यक्ष शमसीर ने सदन की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी।
विधानसभा में विपक्ष का यह विरोध प्रदर्शन भाजपा नेता प्रिंटू महादेवन के खिलाफ पुलिस द्वारा मामला दर्ज किए जाने के एक दिन बाद हुआ है। महादेवन ने 26 सितंबर को एक टेलीविजन बहस के दौरान कथित तौर पर कहा था कि राहुल गांधी पर गोलियां चलाई जाएँगी। केरल प्रदेश कांग्रेस कमेटी (केपीसीसी) के सचिव श्रीकुमार सी.सी. की शिकायत के आधार पर पेरमंगलम पुलिस ने यह मामला दर्ज किया था। पूर्व एबीवीपी नेता महादेवन ने बांग्लादेश और नेपाल में हो रहे विरोध प्रदर्शनों पर चर्चा करते हुए कथित तौर पर यह टिप्पणी की थी।
उन्होंने कथित तौर पर कहा था कि भारत में इस तरह के विरोध प्रदर्शन संभव नहीं हैं क्योंकि यहाँ के लोग प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ मजबूती से खड़े हैं। उन्होंने आगे कहा कि अगर राहुल गांधी की ऐसी कोई इच्छा है, तो ‘‘गोली उनके सीने के पार हो जाएगी।’’ प्राथमिकी में भारतीय न्याय संहिता की धारा 192 (दंगा भड़काने के इरादे से जानबूझकर उकसाना), धारा 353 (शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर अपमान करना) और धारा 351(2) (आपराधिक धमकी) के प्रावधानों का हवाला दिया गया है।

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