प्रधानमंत्री ने स्वदेशी 4जी स्टैक और 1 लाख स्वदेशी बीएसएनएल टावर्स का किया लोकार्पण

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गुवाहाटी{ गहरी खोज }: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को कहा कि तमाम कठिनाइयों के बावजूद भारत ने केवल 22 महीनों में अपना पूर्ण स्वदेशी 4जी स्टैक विकसित कर लिया है और इस उपलब्धि के साथ भारत विश्व का पांचवां देश बन गया है जिसके पास अपनी संपूर्ण 4जी स्टैक क्षमता है। यह केवल तकनीकी प्रगति नहीं बल्कि आत्मनिर्भर भारत और डिजिटल समानता की दिशा में मील का पत्थर है, जो गांव-गांव तक कनेक्टिविटी पहुंचा कर देशवासियों के जीवन को आसान बनाएगा।
प्रधानमंत्री मोदी ने उड़ीसा के झारसुगुड़ा से देश के पूर्ण स्वदेशी 4जी स्टैक और बीएसएनएल के 1 लाख स्वदेशी 4जी टावर्स का लोकार्पण किया। इस अवसर पर केन्द्रीय संचार और उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया समेत अन्य नेता मौजूद रहे।
इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने कहा कि यह उपलब्धि केवल तकनीकी विकास का प्रतीक नहीं है बल्कि भारत के आत्मनिर्भर बनने और डिजिटल समानता सुनिश्चित करने के संकल्प का स्पष्ट संदेश है। तमाम कठिनाइयों के बावजूद भारत के विशेषज्ञों और संचार विभाग ने केवल 22 महीनों में यह पूर्ण स्वदेशी 4जी स्टैक विकसित किया है। प्रधानमंत्री ने कहा कि देश में विकसित 4जी स्टैक और 1 लाख नए टावर्स ग्रामीण और दूरदराज के इलाकों तक कनेक्टिविटी पहुंचा कर विकास की नई गाथा लिखेंगे। इस परियोजना के माध्यम से लगभग 30 हजार ऐसे गांव जहां अब तक हाई-स्पीड इंटरनेट की सुविधा नहीं थी, वहां भी इंटरनेट सेवा उपलब्ध होगी। इससे छात्रों को गुणवत्तापूर्ण ऑनलाइन शिक्षा, किसानों को मंडी और मौसम की जानकारी, सैनिकों को अपने परिवार से जुड़े रहने और उद्यमियों को वैश्विक बाजार तक पहुंचने के अवसर मिलेंगे।
प्रधानमंत्री ने कहा कि यह स्वदेशी 4जी नेटवर्क पूरी तरह सॉफ्टवेयर-ड्रिवन, क्लाउड-बेस्ड और भविष्य के लिए तैयार है। इसमें सी-डॉट ने कोर नेटवर्क, तेजस नेटवर्क ने रेडियो एक्सेस नेटवर्क (आरएएन) और टीसीएस ने इंटीग्रेशन का कार्य किया है। इस उपलब्धि के साथ भारत अब केवल सेवा उपभोक्ता नहीं बल्कि तकनीकी उत्पादक और वैश्विक दूरसंचार क्षेत्र में नेतृत्वकर्ता बनने की ओर अग्रसर है।
केंद्रीय मंत्री सिंधिया ने कहा कि भारत वसुधैव कुटुंबकम की भावना के साथ इस स्वदेशी तकनीक को अपने मित्र देशों के साथ साझा करेगा।उन्होंने बताया कि भारत पहले विदेशी तकनीक पर निर्भर था लेकिन अब बीएसएनएल की मेहनत और विशेषज्ञता ने इसे बदल दिया है। इस परियोजना के तहत बीएसएनएल ने 25 हजार करोड़ रुपए पूंजी का निवेश किया है और जनवरी-मार्च में 280 करोड़ रुपए तथा इस साल की तीसरी तिमाही में 261 करोड़ रुपए का लाभ अर्जित किया है। यह 17 वर्षों में पहली बार है, जब बीएसएनएल लगातार फायदे में चल रहा है।
सिंधिया ने डिजिटल भारत निधि के तहत लक्षित 27,106 टावरों में से 19,823 को सक्रिय करने की जानकारी दी। इसके माध्यम से अब तक 26,327 गांव और लगभग 20 लाख परिवार शिक्षा, स्वास्थ्य और प्रशासन की सुविधाओं से सीधे जुड़े हैं। उन्होंने बताया कि अगस्त 2025 में इन टावरों के माध्यम से 42,773 टीबी डेटा का उपयोग हुआ, जो प्रति ग्राहक औसतन 21 जीबी मासिक है। सिंधिया ने कहा कि दूरस्थ ओडिशा से लेकर पहाड़ी असम तक डिजिटल भारत निधि यह सुनिश्चित करता है कि हर परिवार तक शिक्षा, स्वास्थ्य और प्रशासन की सेवाएं पहुंचें।
उड़ीसा के अलावा आंध्र प्रदेश, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, राजस्थान, असम, गुजरात और बिहार में भी 4जी टावर्स का लोकार्पण किया गया। कार्यक्रम में विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्री और केंद्रीय मंत्री शामिल हुए। इनमें मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी, एन. चंद्रबाबू नायडू, योगी आदित्यनाथ, देवेन्द्र फड़णवीस, एकनाथ शिंदे, भजनलाल शर्मा, हिमंत बिस्वा सरमा, भूपेंद्र पटेल और नीतीश कुमार तथा केंद्रीय मंत्रियों में राममोहन नायडू, चंद्रशेखर पेम्मासानी, पंकज चौधरी, निखिल खड़से, अर्जुन राम मेघवाल, मनसुख मंडाविया और गिरिराज सिंह शामिल थे।

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