संसद का शीतकालीन सत्र संपन्न; लोकसभा और राज्यसभा अनिश्चितकाल के लिए स्थगित
नई दिल्ली{ गहरी खोज }: संसद का शीतकालीन सत्र शुक्रवार को समाप्त हो गया, जब लोकसभा और राज्यसभा दोनों को अनिश्चितकाल (साइन डाई) के लिए स्थगित कर दिया गया। लोकसभा की कार्यवाही शुरू होते ही अध्यक्ष ओम बिरला ने सदन को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया। वहीं, राज्यसभा को भी साइन डाई स्थगित किया गया। इस अवसर पर सभापति सी. पी. राधाकृष्णन ने सत्र के दौरान हुए विधायी और अन्य कार्यों का संक्षिप्त विवरण पढ़कर सुनाया। इसके बाद राष्ट्रीय गीत का वादन हुआ, जिसके पश्चात सदन को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया।
शीतकालीन सत्र की शुरुआत 1 दिसंबर को हुई थी और यह 19 दिनों की अवधि में 15 बैठकों के साथ आयोजित हुआ। सत्र के दौरान कई अहम विधेयक पारित किए गए, जिनमें निजी कंपनियों के लिए असैन्य परमाणु क्षेत्र खोलने से संबंधित विधेयक भी शामिल है।
इसके अलावा, मनरेगा की जगह लेने वाले नए कानून — वीबी–जी राम जी विधेयक — को भी गुरुवार को पारित किया गया, जो ग्रामीण भारत को 125 दिनों के गारंटीकृत रोजगार का आश्वासन देता है। इस विधेयक के पारित होने के दौरान विपक्ष ने कड़ा विरोध किया और कागज फाड़कर प्रदर्शन भी किया।
लोकसभा में दो महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा भी हुई — ‘वंदे मातरम्’ के 150 वर्ष और चुनावी सुधार — जिनके दौरान माहौल काफी राजनीतिक रूप से गर्म रहा। उच्च शिक्षा नियामक की स्थापना से संबंधित एक विधेयक को संसद के दोनों सदनों की संयुक्त समिति को भेजा गया। वहीं, बाजार प्रतिभूति संहिता से जुड़े एक अन्य विधेयक को पेश कर विभागीय स्थायी समिति को जांच के लिए सौंपा गया।
