भारत का अब तक का सबसे बड़ा लाइव स्कूल इनोवेशन चैलेंज: तीन लाख से अधिक स्कूलों ने लिया हिस्सा

नई दिल्ली{ गहरी खोज }: शिक्षा मंत्रालय के तत्वावधान में आज देशभर के तीन लाख से अधिक स्कूलों ने एक साथ भाग लेकर इतिहास रच दिया। केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने नई दिल्ली में “विकसित भारत बिल्डाथॉन- 2025” का शुभारंभ किया, जो अब तक का भारत का सबसे बड़ा लाइव स्कूल इनोवेशन हैकाथॉन है। उद्घाटन सत्र के दौरान उन्होंने ओडिशा के खुर्दा स्थित पीएम गवर्नमेंट हाई स्कूल के छात्रों से संवाद किया।
इस अवसर पर प्रधान ने दिल्ली पब्लिक स्कूल, मथुरा रोड और पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय नं. 2, दिल्ली छावनी का दौरा किया, जहां उन्होंने छात्रों द्वारा बनाए गए विभिन्न नवाचार प्रोजेक्ट देखे और उनके विचारों की सराहना की। उन्होंने विद्यार्थियों को जिज्ञासु बने रहने और अपनी रचनात्मकता को आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में योगदान देने के लिए प्रेरित किया।
प्रधान ने देशभर के छात्रों और स्कूलों को इस विशाल नवाचार पहल में उत्साहपूर्ण भागीदारी के लिए बधाई दी। उन्होंने कहा कि यहां से उपजे विचार भारत ही नहीं, बल्कि दुनिया के लिए नए समाधान और मॉडल तैयार करने में मदद करेंगे। मंत्री ने कहा कि विकसित और समृद्ध भारत हमारे होनहार विद्यार्थियों के कंधों पर खड़ा होगा। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के विकसित भारत 2047 के लक्ष्य को दोहराते हुए छात्रों से राष्ट्र निर्माण में सक्रिय भूमिका निभाने का आह्वान किया।
शिक्षा सचिव संजय कुमार ने अपने संबोधन में देशभर के विद्यार्थियों की सहभागिता और नवाचार भावना की सराहना की। उन्होंने कहा कि यह अभूतपूर्व आंदोलन छात्रों की सीखने की क्षमता को निखारेगा और उनमें नवाचार का दृष्टिकोण मजबूत करेगा। उन्होंने शिक्षा मंत्री का मार्गदर्शन और सहयोग के लिए आभार भी व्यक्त किया। अटल इनोवेशन मिशन के मिशन निदेशक दीपक बगला ने कहा कि विकसित भारत बिल्डाथॉन नवाचार को एक जनांदोलन में बदल देगा, जो देश के सुदूर गांवों से लेकर महानगरों तक के स्कूलों को जोड़ता है।
उद्घाटन सत्र के बाद 120 मिनट का लाइव इनोवेशन चैलेंज आयोजित किया गया, जिसमें देशभर के एक करोड़ से अधिक छात्रों ने एक साथ भाग लिया। कक्षा 6 से 12 तक के छात्र तीन से पांच सदस्यीय टीमों में “आत्मनिर्भर भारत, स्वदेशी, वोकल फॉर लोकल और समृद्धि” विषयों पर विचार प्रस्तुत करते हुए प्रोटोटाइप तैयार किए। कार्यक्रम की खास विशेषता “स्कूल स्पॉटलाइट्स” रही, जिसमें देश के 150 से अधिक दूरस्थ, आकांक्षी, पहाड़ी और सीमावर्ती क्षेत्रों के स्कूलों को सीधा जोड़ा गया।
देशभर के 3 लाख से अधिक स्कूलों ने विकसित भारत बिल्डाथॉन में हिस्सा लिया। इनमें उत्तर प्रदेश ने सर्वाधिक 78,206 स्कूलों के साथ भागीदारी की। इसके बाद महाराष्ट्र 41,198, मध्य प्रदेश 18,129, गुजरात 20,017, तमिलनाडु 16,370, बिहार 15,732, ओडिशा 12,344, हरियाणा 11,567, और कर्नाटक 10,248 स्कूलों के साथ प्रमुख राज्य रहे। असम से 15,656, झारखंड से 9,779, छत्तीसगढ़ से 8,363, जबकि राजस्थान से 6,310 स्कूलों ने भाग लिया।
अन्य राज्यों में पंजाब (5,725), हिमाचल प्रदेश (4,575), दिल्ली (4,033), आंध्र प्रदेश (3,980), उत्तराखंड (2,473), तेलंगाना (2,724) और त्रिपुरा (2,299) शामिल रहे। पूर्वोत्तर राज्यों में मणिपुर (896), नागालैंड (926), मिजोरम (835), मेघालय (544) और अरुणाचल प्रदेश (206) स्कूल शामिल हुए। केंद्रशासित प्रदेशों में जम्मू-कश्मीर (4,754), लद्दाख (358), चंडीगढ़ (269), दादरा और नगर हवेली एवं दमन और दीव (235), पुडुचेरी (149), अंडमान-निकोबार द्वीपसमूह (171) और लक्षद्वीप के 9 स्कूलों ने इस ऐतिहासिक पहल में भाग लेकर देश के शैक्षिक नवाचार आंदोलन में योगदान दिया।