पंजाब की कहानी : तथ्यों की जुबानी
संपादकीय { गहरी खोज }: आम आदमी पार्टी ने सत्ता में आने के पश्चात पंजाब से गैंगस्टरों, नशा तस्करों और आतंक से जुड़े लोगों के विरुद्ध अभियान शुरू किया था। 2022 से 2025 के बीच पंजाब पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई को लेकर पंजाब पुलिस प्रमुख गौरव यादव ने जो तथ्य पंजाब वासियों के सामने रखे हैं उनसे स्पष्ट संकेत मिलता है कि पंजाब का वर्तमान और भविष्य दोनों खतरे में हैं।
पंजाब पुलिस के महानिदेशक गौरव यादव अनुसार पंजाब से गैंगस्टर कल्चर को जड़ से खत्म करने के उद्देश्य से अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (एडीजीपी) प्रमोद बान की अगुवाई में एंटी-गैंगस्टर टास्क फोर्स (एजीटीएफ) का गठन किया था। पुलिस टीमों ने गिरफ्तार आरोपियों के कब्जे से 2086 हथियार, 564 वाहन, 79 किलो हेरोइन और 4.69 करोड़ रुपए की ड्रग मनी बरामद की है। इस अवधि के दौरान पुलिस और अपराधियों के बीच कम से कम 324 बार मुठभेड़ हुई। इन कार्रवाई में पुलिस ने 24 गैंगस्टरों/अपराधियों को ढेर किया और 515 को गिरफ्तार किया जिनमें से 319 आरोपी घायल भी हुए। इन अभियानों के दौरान पंजाब पुलिस के तीन बहादुर जवान शहीद हुए जबकि 41 पुलिसकर्मी घायल हुए।
एजीटीएफ के गठन के बाद से यह यूनिट राज्य और देश के अन्य हिस्सों में गैंगस्टर तत्वों के खिलाफ लगातार ठोस और समन्वित कार्रवाई कर रही है। साथ ही, यह टास्क फोर्स विभिन्न फील्ड यूनिटों के साथ रियल टाइम इंटेलिजेंस साझाकर अपराधियों के खिलाफ संयुक्त अभियानों को मजबूत बना रही है।
पंजाब पुलिस का युद्ध नशे के विरूद्ध अभियान जारी है। पुलिस ने वीरवार को राज्यभर में 271 स्थानों पर रेड की। इन दौरान 68 एफआईआर दर्ज की गई और नशा तस्करी में 93 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया। आरोपियों के कब्जे से 1 किलो हेरोइन, 29,678 नशीली गोलियां और 11.24 लाख रुपए की ड्रग मनी बरामद की। 100 से अधिक टीमों ने पूरे पंजाब में 271 स्थानो पर एक साथ रेड की और 290 संदिग्ध व्यक्तियों की जांच की। साथ ही 27 व्यक्तियों को नशा छोड़ने और पुनर्वास केंद्रों पर उपचार करवाने के लिए राजी किया गया। पंजाब पुलिस द्वारा दिए गए तथ्यों से पंजाब की स्थिति को समझा जा सकता है। पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई से स्पष्ट है कि पंजाब में गैंगस्टर और नशा तस्कर और अवैध हथियारों की तस्करी करने वाले पंजाबियों के लिए एक बड़ी चुनौती के रूप में सामने है।
पंजाब पुलिस अपने स्तर पर जो कर रही है वह तथ्यों की जुबानी अपनी कहानी कह रही है। सरकार की कार्रवाई जारी है क्योंकि घटनाएं भी निरंतर होती चली जा रही है, यह सब सांप सीढ़ी के खेल की तरह तब तक जारी रहेगा जब तक सामाजिक स्तर पर पंजाबी इस चुनौती को स्वीकार कर इसके विरुद्ध स्वयं अपनी आवाज बुलंद नहीं करते। पंजाबियों के जीवन में बढ़ता दिखावा और भौतिक सुख सुविधा के लिए छोटा रास्ता अपनाकर धनाढ्य बनने की जो कोशिश नई पीढ़ी कर रही है। उसी का परिणाम है कि पंजाब पतन की ओर बढ़ रहा है। गुरुओं का दिया संदेश नाम जपन, कृत करन और वंड छकन का सिद्धांत अब हमारी जुबान तक ही रह गया है। इन को अमल में लाने ही में हम असफल हो रहे हैं।
पंजाबियों को अगर अपनी भावी पीढ़ी को बचाना है तो सरल व सहज जीवन की राह पर चलना होगा। दिखावे व दोहरे मापदंडों पर चलने के कारण ही पंजाब पतन की ओर अग्रसर है पंजाबियों को उपरोक्त तथ्यों को देखते हुए आत्मचिंतन करना होगा। पंजाब को अगर गैंगस्टरों, नशे के तस्करों से बचाना है तो पुलिस का साथ समाज को भी देना होगा।
