उत्तर प्रदेश के रायबरेली में दलित व्यक्ति की पीट-पीटकर हत्या के मामले में दो और गिरफ्तार

रायबरेली{ गहरी खोज }: उत्तर प्रदेश के रायबरेली में एक 40 वर्षीय दलित व्यक्ति की कथित तौर पर “ड्रोन चोरी” के संदेह में हुई पीट-पीटकर हत्या (लिंचिंग) के मामले में दो और लोगों को गिरफ्तार किया गया है, पुलिस ने गुरुवार को जानकारी दी।
इन नई गिरफ्तारियों के साथ अब तक इस हत्या के मामले में कुल 11 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। पुलिस के अनुसार, बनियन मजरे पचखरा के निवासी शिवम अग्रहरि और जमुनापार के हेमंत कुमार को बुधवार रात को गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने बताया कि कर्तव्य में लापरवाही के आरोप में पांच पुलिसकर्मियों, जिनमें दो उपनिरीक्षक (सब-इंस्पेक्टर) शामिल हैं, को निलंबित कर दिया गया है। जानकारी के मुताबिक, हरिओम वाल्मीकि नामक व्यक्ति की 2 अक्टूबर को जमुनापुर गांव में रात के समय गश्त के दौरान ग्रामीणों द्वारा चोरी के शक में पीट-पीटकर हत्या कर दी गई थी। अफवाह थी कि चोरों का एक गिरोह ड्रोन से निगरानी कर घरों की पहचान कर रहा है, जिसे लेकर हरिओम को चोर समझकर उस पर हमला किया गया।
इससे पहले, पुलिस ने कहा था कि आरोपियों के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट और राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) के तहत कार्रवाई की जाएगी और इस घटना को जातिगत रंग देने से बचने की चेतावनी भी दी थी। राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) राज्य सरकार को ऐसे व्यक्तियों को 12 महीने तक हिरासत में रखने की शक्ति देता है जो भारत की सुरक्षा के लिए खतरा बन सकते हैं, हालांकि यह अवधि पहले भी खत्म की जा सकती है।
उत्तर प्रदेश गैंगस्टर एवं समाज विरोधी क्रियाकलाप (निवारण) अधिनियम, 1986 का उद्देश्य संगठित अपराध से निपटना है, और इसके तहत गैंगस्टरों व असामाजिक तत्वों पर विशेष प्रावधानों के तहत कार्रवाई की जाती है। घटना के तुरंत बाद वैभव सिंह, विजय कुमार, सहदेव पासी, विजय मौर्य और सुरेश कुमार मौर्य को गिरफ्तार किया गया था। मंगलवार को चार और लोगों को गिरफ्तार किया गया था। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हुआ, जिसके बाद देशभर में आक्रोश फैल गया। कांग्रेस पार्टी ने इस घटना को “मानवता और संविधान की हत्या” करार दिया। कांग्रेस ने एक संयुक्त बयान में कहा कि यह घटना हमारी सामूहिक नैतिकता पर गंभीर सवाल खड़े करती है।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि भीड़ हिंसा, बुलडोजर न्याय और भीड़तंत्र (Mobocracy) हमारे समय की डरावनी पहचान बन चुके हैं। राहुल गांधी ने पीड़ित के भाई से फोन पर बात की और उन्हें पूरा समर्थन देने का आश्वासन भी दिया। हरिओम, जो कि फतेहपुर के निवासी थे, पर लाठी, रॉड और बेल्ट से हमला किया गया। बताया गया है कि वह मानसिक रूप से अस्थिर थे और अपने विचार ठीक से व्यक्त नहीं कर पाते थे। घटना की जानकारी पुलिस को अगले दिन सुबह दी गई।