निर्मला सीतारमण करेंगी कौटिल्य आर्थिक सम्मेलन का तीन अक्टूबर को उद्घाटन

नयी दिल्ली{ गहरी खोज }: वित्त एवं कॉर्पोरेट कार्य मंत्री निर्मला सीतारमण तीन अक्टूबर को राजधानी में शुरू हो रहे चौथे कौटिल्य आर्थिक सम्मेलन (केईसी 2025) का उद्घाटन करेंगी और तीन दिन के इस आयोजन के विभिन्न सत्रों की चर्चाओं में में आर्थिक-वाणिज्यिक, राजनीतिक, राजनयिक, विधिक बैंकिंग, और अन्य क्षेत्रों की जानीमानी हस्तियां शामिल होंगी।
शनिवार को जारी एक विज्ञप्ति में यह जानकारी देते हुए कहा गया है कि तीन दिनों के इस सम्मेलन के आखिरी दिन पांच अक्टूबर को एक सत्र भारत की विदेश एवं आर्थिक नीति पर विचार-विमर्श के सत्र के साथ होगा जिसे विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर संबोधित करेंगे। सम्मेलन का समापन वैश्विक समष्टि आर्थिक विवेक पर एक उच्च स्तरीय पूर्ण सत्र के साथ होगा, जिसकी अध्यक्षता प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव डॉ. पी.के. मिश्रा करेंगे। इसमें वरिष्ठ नीति निर्माता और अर्थशास्त्री वैश्विक अर्थव्यवस्था की स्थिति और वित्तीय प्रशासन में आवश्यक सुधारों का मूल्यांकन करने के लिए एक साथ आएंगे।
सम्मेलन में “संचार: उभरती हुई प्रौद्योगिकियां” विषय पर एक सत्र को दूरसंचार मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया भी संबोधित करेंगे।
इस बार कौटिल्य आर्थिक सम्मेलन का विषय है- “प्रतिकूल दौर में समृद्धि की खोज।” इसके एजेंडा में तात्कालिक नीतिगत प्राथमिकताओं को दीर्घकालिक बदलावों के साथ समाहित किया गया है। विचार-विमर्श सत्रों में एशिया के एक वैश्विक विकास केंद्र के रूप में उभरने, ब्रिक्स की उभरती संरचना, वित्तीय स्थिरता और औद्योगिक नीति में नई दिशाओं पर चर्चा की जाएगी।
इस दौरान विभिन्न सत्रों में फ्रांस के केंद्रीय बैंक – बैंक डी फ्रांस के मानद गवर्नर जीन-क्लाउड ट्रिचेट, भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर संजय मल्होत्रा, इंडोनेशिया की पूर्व व्यापार मंत्री मारी एल्का पंगेस्टू और जापान की लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी के सदस्य तारो कोनो शामिल भाग लेंगे। अन्य वक्ताओं में त्सिंगुआ विश्वविद्यालय में अर्थशास्त्र और प्रबंधन स्कूल के डीन बाई चोंग-एन; ब्रिटेन के हाउस ऑफ लॉर्ड्स के सदस्य लॉर्ड करण बिलिमोरिया; लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स में स्कूल ऑफ पब्लिक पॉलिसी के डीन एंड्रेस वेलास्को, लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स के अध्यक्ष और कुलपति लैरी क्रेमर और भारत के पूर्व सॉलिसिटर जनरल हरीश साल्वे और प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव (द्वितीय) शक्तिकांत दास जैसे अपने अपने क्षेत्र के दिग्गजों के विचार सुने जा सकेंगे।