पुतिन-मोदी की केमिस्ट्री से बौखलाया अमरीका, मोदी की पुतिन-जिनपिंग के साथ मुलाकात

वाशिंगटन{ गहरी खोज } : चीन के तियानजिन शहर में एससीओ शिखर सम्मेलन के दौरान और उससे इतर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रूसी राष्ट्रपति पुतिन के बीच की केमिस्ट्री देख अमरीका परेशान हो उठा है। पिछले कुछ हफ्तों से भारत पर तीखा हमला करने वाले अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के व्यापार सलाहकार पीटर नवारो ने एक बार फिर अपनी खीझ निकाली है। नवारो ने भारत-रूस व्यापारिक संबंधों की आलोचना की है और शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ मुलाकात को शर्मनाक बताया है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी को शी जिनपिंग और पुतिन के साथ घुलते-मिलते देखना शर्मनाक है।
मुझे समझ नहीं आ रहा कि वह क्या सोच रहे हैं। हमें उम्मीद है कि उन्हें यह समझ आ जाएगा कि उन्हें रूस के साथ नहीं, बल्कि हमारे साथ रहना चाहिए। नवारो ने कई मौकों पर कहा है कि तेल खरीद से होने वाली आय रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के यूक्रेन के खिलाफ युद्ध को वित्त पोषित कर रही है। अमरीका के वित्त मंत्री स्कॉट बेसेंट ने भारत की रूस से कच्चे तेल की खरीद पर सवाल उठाते हुए कहा कि इससे मास्को की जंग मशीन को ताकत मिल रही है। उन्होंने भारत को बुरा खिलाड़ी करार दिया। बेसेंट ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हालिया एससीओ बैठक को दिखावा बताया। हालांकि, उन्होंने कहा कि अमरीका और भारत मजबूत लोकतंत्र हैं और मतभेद सुलझा सकते हैं। बेसेंट ने ट्रेड डील पर धीमी बातचीत को भारत पर टैरिफ की एक प्रमुख वजह बताया।