मुख्यमंत्री रेखा ने पेश किया दिल्ली के विकास का मास्टर प्लान

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नई दिल्ली { गहरी खोज }: दिल्ली में 27 साल बाद भाजपा के नेतृत्व में गठित दिल्ली सरकार के कार्यकाल के पहले स्वतंत्रता दिवस पर मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने कहा कि हमारा संकल्प है कि हर गली, हर मोहल्ले और हर नागरिक के जीवन को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया जाएगा। बारिश के बावजूद देशभक्ति के जज्बे से ओत-प्रोत बड़ी संख्या में लोग, बच्चे और जवान इस पल के साक्षी बने। कार्यक्रम में देशभक्ति के गीत, सांस्कृतिक प्रस्तुतियां और तिरंगे की शान में गूंजते नारों ने माहौल को देशप्रेम से सराबोर कर दिया।
उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार की प्राथमिकताओं में स्वास्थ्य, मेट्रो लाइनें, शिक्षा विधेयक और झुग्गियों का विकास शामिल है। मुख्यमंत्री ने दिल्ली को पर्यटन, शिक्षा और स्वास्थ्य सेवा के लिए एक वैश्विक केंद्र बनाने के अपने दृष्टिकोण को दोहराया। उन्होंने कहा कि राजधानी में ‘दिल्ली स्कूल एजुकेशन ट्रांसपेरेंसी एंड रेगुलेशन’ कानून लागू कर दिया गया है। यह कानून अभिभावकों की जेब का पहरेदार बनेगा और किसी को भी उन्हें आर्थिक रूप से शोषित करने की अनुमति नहीं देगा। इसके साथ ही युवाओं के सुरक्षित भविष्य के लिए एंटी-ड्रग क्लब, स्टार्टअप सहायता और अन्य सुविधाएं भी दिल्ली सरकार प्रदान करेगी।
मुख्यमंत्री ने यमुना की सफाई का संकल्प दोहराया और कहा कि यह दिल्ली की आत्मा को पुनर्जीवित करने का प्रयास है। उन्होंने कहा कि यमुना का पवित्र बनाना हमारी प्राथमिकता और घाटो का विकसित किया जाएगा। नदी के किनारे नियमित यमुना आरती का आयोजन किया जाएगा। सरकार यमुना नदी के किनारे 12 किलोमीटर लंबा छठ घाट का निर्माण करेगी, जो आध्यात्मिक अवसरों और त्योहारों के लिए सबसे बड़े नदी के किनारे के स्थानों में से एक होगा, जिसमें छठ पूजा और अन्य प्रमुख आयोजनों के दौरान लाखों भक्तों के आने की उम्मीद है।
मुख्यमंत्री ने दिल्ली को एक प्रमुख वैश्विक पर्यटन स्थल के रूप में स्थापित करने के लिए पर्यटन विकास योजना की घोषणा की। उन्होंने कहा कि दिल्ली न केवल अपने ऐतिहासिक गौरव को बनाए रखेगी, बल्कि आधुनिक बुनियादी ढांचे को भी अपनाएगी ताकि घरेलू और अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों को आकर्षित किया जा सके।
सरकार जल्द ही दिल्ली के सबसे महत्वपूर्ण धरोहर स्थलों को जोड़ने वाला एक व्यापक पर्यटन सर्किट लॉन्च करेगी, जिससे पर्यटक शहर की सांस्कृतिक यात्रा को और अच्छी तरह अनुभव कर सकेंगे। इस पहल में ऐतिहासिक किले, स्मारक, संग्रहालय और सांस्कृतिक केंद्र एकीकृत पर्यटन अनुभव में शामिल होंगे। यमुना नदी पर एक अत्याधुनिक क्रूज सेवा शुरू करने की भी योजना है जो पर्यटकों को शहर के सांस्कृतिक और आध्यात्मिक हृदय के माध्यम से एक मनोरम यात्रा प्रदान करेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली की असली संपत्ति उसकी सेहत है। उन्होंने बताया कि स्वास्थ्य ढांचे को मजबूत करने के लिए 1,100 आयुष्मान आरोग्य मंदिर का लक्ष्य तय किया गया है, जिनमें से 166 बनकर तैयार हो चुके हैं। इसके अलावा अगस्त माह में 5 बड़े अस्पताल विस्तार परियोजनाओं का उद्घाटन किया जाएगा, जिससे 1,300 नए बेड, नई ओपीडी और अत्याधुनिक चिकित्सा मशीनें जोड़ी जाएंगी। अस्पतालों में मशीनों की कमी दूर करने के लिए 150 डायलिसिस मशीनें, 20 सीटी स्कैन मशीनें और 12 एमआरआई मशीनें स्थापित की गई हैं। 28 अस्पतालों में नए मेडिकल सुपरिटेंडेंट नियुक्त किए गए हैं और 1,500 नर्सों को स्थायी नियुक्ति दी गई है। उन्होंने बताया कि दिल्ली के अस्पतालों को पहली बार हॉस्पिटल इंफॉर्मेशन मैनेजमेंट सिस्टम (एचआईएमएस) से जोड़ा गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने झुग्गी बस्तियों में रहने वालों को सम्मानजनक मकान देने का संकल्प लिया है। हर झुग्गीवासी को न सिर्फ एक घर, बल्कि सुरक्षित जीवन, बच्चों का उज्ज्वल भविष्य और बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। ये आवास सभी आवश्यक सुविधाओं से सुसज्जित होंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के जन्मदिवस 25 दिसम्बर को ‘अटल कैंटीन’ योजना की शुरुआत की जाएगी। योजना के तहत मजदूरों को मात्र 5 रुपए में पौष्टिक और स्वच्छ भोजन उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि मजदूरों के रोजगार, उनके बच्चों की शिक्षा और उनके परिवार की आवश्यकताओं में सरकार हरसंभव सहायता प्रदान करेगी। मुख्यमंत्री ने इसे केवल विकास नहीं, बल्कि हर नागरिक को सम्मान और उसके अधिकारों की गारंटी करार देते हुए कहा कि यह कदम दिल्ली को मजबूत और आधुनिक बनाने की दिशा में एक मील का पत्थर साबित होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि विशेष रूप से टैक्सी ड्राइवर या श्रम कार्यों में लगी महिलाओं की सुविधा के लिए सरकार 500 नए सेंटर और पालना गृह स्थापित करेगी, जहां माताएं अपने बच्चों को सुरक्षित वातावरण में छोड़कर निश्चिंत होकर कार्य कर सकें। उन्होंने कहा कि अब तक 300 आंगनबाड़ी केंद्रों को उन्नत सुरक्षा मानकों और आधुनिक सुविधाओं के साथ विकसित किया जा चुका है, जिससे माताओं का भरोसा इन केंद्रों पर और मजबूत हुआ है।
मुख्यमंत्री ने जैसे ही भाषण शुरू किया, रिमझिम बारिश शुरू हो गई। बादलों से गिरते पानी की धार ने मंच और मैदान दोनों को भिगो डाला। मगर मंच के सामने खड़े स्कूली बच्चे अपनी जगह अडिग खड़े रहे, वे न हिले, न घबराए। जैसे ही अपना भाषण खत्म किया, मुख्यमंत्री मंच से उतरकर बच्चों के बीच पहुंच गईं। सुरक्षा कर्मियों और अधिकारियों ने छतरी देने की कोशिश की, लेकिन मुख्यमंत्री ने मुस्कराकर मना कर दिया। उन्होंने कहा कि जब ये बच्चे बिना छतरी के खड़े हैं, तो मैं कैसे छतरी ले सकती हूं ? बारिश में भीगती मुख्यमंत्री ने बच्चों से बातें कीं और उनका हालचाल जाना। मुख्यमंत्री ने बच्चों के साथ तस्वीरें खिंचवाईं।
मुख्यमंत्री ने विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट और निस्वार्थ सेवाएं प्रदान करने वाले अधिकारियों को सम्मानित किया। असिस्टेंट सुपरीटेंडेंट योगेंद्र कुमार, एडीशनल सुपरीटेंडेंट सत्यवीर सिंह यादव व असिस्टेंट सुपरीटेंडेंट अंजना चौहान को विशेष सेवाओं के लिए राष्ट्रपति सुधारात्मक पदक (विशिष्ट सेवा) से सम्मानित किया गया। एक विशेष श्रद्धांजलि के रूप में मुख्यमंत्री ने स्वतंत्रता सेनानी और आईएनए के सदस्य लेफ्टिनेंट रंगास्वामी माधवन पिल्लै को श्रद्धांजलि दी, जिन्होंने 17 वर्ष की उम्र में नेताजी के नेतृत्व में स्वतंत्रता संग्राम में हिस्सा लिया था।

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