आप भी बनी हैं नईं Mother, कराती हैं ब्रेस्टफीडिंग तो जान लें कैसा होना चाहिए आपका डेली रूटीन

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लाइफस्टाइल डेस्क { गहरी खोज }: प्रेगनेंसी के दौरान तो महिलाओं के स्वास्थ्य पर काफी ध्यान दिया जाता है, लेकिन डिलीवरी के बाद, जब वे स्तनपान कराती हैं, तो अक्सर सारा ध्यान बच्चे पर चला जाता है। जबकि, एक स्तनपान कराने वाली माँ जो कुछ भी खाती-पीती है, उसी से बच्चे को पोषण मिलता है। इसलिए, माँ की सेहत का खास ख्याल रखना बेहद ज़रूरी है। आशा आयुर्वेदा की डायरेक्टर और स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. चंचल शर्मा बताती हैं कि बच्चे के जन्म के बाद महिलाओं को अपनी सेहत पर पूरा ध्यान देना चाहिए।

स्तनपान कराने वाली महिलाओं के शरीर में कई तरह के बदलाव होते हैं, जिन्हें स्वीकार करना कभी-कभी मुश्किल हो सकता है। उनका वज़न बढ़ सकता है, बाल झड़ने शुरू हो सकते हैं, और कई बार माँएँ बच्चे की ज़िम्मेदारी के चलते डिप्रेशन में भी जा सकती हैं। इसलिए, स्तनपान कराने वाली महिलाओं की एक खास दिनचर्या होनी चाहिए, जिसमें वे अपनी सेहत को सबसे पहले रख सकें।

डॉ. शर्मा के अनुसार, स्तनपान कराने वाली महिलाओं में वात दोष का स्तर बढ़ जाता है, जिसे संतुलित करना बहुत ज़रूरी है। यहाँ कुछ आसान टिप्स दिए गए हैं, जिनसे स्तनपान कराने वाली माँएँ अपनी दिनचर्या को बेहतर बना सकती हैं:

डिलीवरी के बाद शुरुआती दिन: डिलीवरी के बाद के पहले 7 दिनों में महिलाओं को पूरी तरह से आराम करना चाहिए। इससे शरीर को जल्दी ठीक होने में मदद मिलती है। 7 दिन पूरे होने के बाद आप घर में ही थोड़ा-बहुत घूमना शुरू कर सकती हैं। इस दौरान कभी-कभी आपको भावनात्मक उतार-चढ़ाव महसूस हो सकते हैं, जो बिलकुल सामान्य हैं। घबराएँ नहीं। इन बदलावों को स्वीकार करें और अपनी सेहत का ध्यान रखें।

कैसी होनी चाहिए डाइट: अपने आहार में पौष्टिक खाद्य पदार्थों को शामिल करें, जिससे आपके शरीर में ऊर्जा बनी रहे और स्तनपान के लिए किसी बाहरी सहायक वस्तु की ज़रूरत न पड़े। शरीर में विटामिन डी की कमी न होने दें। इसके लिए आप रोज़ाना आधे घंटे धूप में बैठ सकती हैं। जब भी ज़रूरत पड़े, घर के कामों में दूसरों की मदद लेने से हिचकिचाएँ नहीं। घर के सारे काम करने की ज़िम्मेदारी खुद पर न लें, क्योंकि यह समय आपके लिए मुश्किल हो सकता है।

नींद और खुद के लिए समय: स्तनपान कराने वाली माँओं को अक्सर पूरी नींद नहीं मिल पाती। इसलिए, उन्हें एक ऐसा शेड्यूल बनाना चाहिए जिसमें वे अपनी भावनात्मक स्थिरता के लिए कुछ समय निकाल सकें। आप इस दौरान अपनी मालिश कर सकती हैं। अपने पार्टनर से बात करके अपने खाने-पीने का एक समय तय करें और उस दौरान बच्चे की ज़िम्मेदारी उन्हें सौंप दें, ताकि आप आराम कर सकें।

शारीरिक रिकवरी और बैली रैप: डिलीवरी के बाद स्तनपान कराने वाली महिलाओं के शरीर में वात बढ़ने के कारण पेट में बदलाव आ सकते हैं। आप पेट को फिर से ठीक करने के लिए बैली रैप (belly wrap) का इस्तेमाल कर सकती हैं। इसके इस्तेमाल से आपके शरीर में सक्रियता आएगी।

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