आरबीआई जून एमपीसी में रेपो रेट में 50 आधार अंक तक की कर सकता है कटौती : एसबीआई रिपोर्ट

नई दिल्ली{ गहरी खोज }: एसबीआई की ओर से सोमवार को जारी की गई रिपोर्ट में बताया गया कि अनिश्चित माहौल को संतुलित करने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) जून एमपीसी में रेपो रेट में 50 आधार अंक तक की कटौती कर सकता है। एसबीआई के ग्रुप चीफ इकोनॉमिक एडवाइजर डॉ सौम्या कांति घोष ने कहा कि इस साइकिल में संचयी रूप से 100 आधार अंक की ब्याज दरों में कटौती हो सकती है। उन्होंने आगे कहा कि घरेलू तरलता और वित्तीय स्थिरता की चिंताएं कम हो गई हैं। महंगाई आरबीआई द्वारा तय की गई सीमा में रहने की उम्मीद है। घरेलू विकास की गति को बरकरार रखना मुख्य नीतिगत फोकस होना चाहिए। एसबीआई रिपोर्ट में बताया गया कि फरवरी 2025 से एफडी दरों में 30-70 बीपीएस की कमी आई है। आने वाली तिमाहियों में जमा दरों में इसका प्रभाव रहने की उम्मीद है।
भारत की अर्थव्यवस्था वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में 7.4 प्रतिशत की दर से बढ़ी है। पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में यह आंकड़ा 8.4 प्रतिशत है। रिपोर्ट में बताया गया,”सामान्य से अधिक मानसून और फसल की अच्छी आवक और कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट के कारण वित्त वर्ष 26 में महंगाई का अनुमान 3.5 प्रतिशत के करीब है। एसबीआई रिपोर्ट में कहा गया, “हमारा अनुमान है कि आरबीआई विकास दर को सपोर्ट करने के लिए रेपो रेट में 50 आधार अंक की कटौती कर सकता है।” ब्याज दरों की समीक्षा के लिए आरबीआई एमपीसी की बैठक 4 जून से शुरू होगी और 6 जून को इसके निर्णय का ऐलान आरबीआई गवर्नर द्वारा किया जाएगा। वहीं, बैंक ऑफ बड़ौदा की रिपोर्ट का कहना है कि आने वाली आरबीआई एमपीसी में रेपो रेट में 25 आधार अंक की कटौती हो सकती है।
बैंक ऑफ बड़ौदा के मुख्य अर्थशास्त्री मदन सबनवीस के अनुसार, “महंगाई स्थिर बनी हुई हैं और आरबीआई के विभिन्न उपायों के माध्यम से लिक्विडिटी की स्थिति भी सहज बनी हुई है। इसी के साथ हमारा मानना है कि एमपीसी 6 जून को रेपो दर में 25 आधार अंकों की कटौती करेगी।”