महिलाओं में पीरियड्स का लेट होना किन बीमारियों का लक्षण होता है, डॉक्टर से जानें

लाइफस्टाइल डेस्क { गहरी खोज }:सामान्य तौर पर महिलाओं का पीरियड समय पर नहीं होना गर्भधारण का संकेत होता है। हालांकि कुछ बीमारियों कारण भी ऐसा होता है, जिसके कारण पीरियड समय पर नहीं होते और देर से होते हैं। पीरियड देरी से होन के पीछे कई और भी कारण होते हैं और यह कारण सभी महिलाओं में अलग-अलग भी हो सकते हैं। पीरियड देर से क्यों होते हैं बता रहे हैं एक्सपर्ट।
सामान्य पीरियड साइकिल 28 दिनों का होता है। इसके अलावा इसमें 10 दिन तक की देरी भी हो सकती है। यह 38 दिन में भी हो सकता है। यदि 38 दिन में पीरियड आ रहा तो इसे सामान्य ही माना जाता है। यदि इससे ज्यादा समय हो रहा है तो यह कई कारणों से हो सकता है। इस बारे में हमने चर्चा की वरिष्ठ स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ। वाणी पुरी रावत से। डॉक्टर रावत बताती हैं कि हर महिला का पीरियड साइकिल अलग-अलग होता है। उस समय से 10 से 12 दिन देरी होने पर इसे देरी से पीरियड आना माना जाता है।
देरी का कारण
डॉक्टर वाणी पुरी रावत के अनुसार महिलाओं में पीरियड देरी से आने के कई कारण होते हैं। इनमें हार्मोनल बदलाव, पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम (PCOS, थायराइड की समस्या या अन्य बीमारियों का संकेत हो सकता है। इसके अलावा तनाव के कारण भी कई बार पीरियड देरी से आते हैं। अनियमित जीवनशैली और खराब खानपान के कारण भी कई बार पीरियड देरी से होते हैं। यदि वजन बहुत ज्यादा है तब भी पीरियड अनियमित हो सकते हैं। गर्भ निरोधक दवाओं का प्रयोग या अन्य गर्भ निरोधक विधियों के प्रयोग के कारण भी पीरियड में देरी हो सकती है।
डॉक्टर से मिलें
यदि पीरियड दो से तीन महीने की देरी से हो रहे हैं तो डॉक्टर से मिलना जरूरी है। इसके अलावा पीरियड लेट होने के साथ ही आपको अन्य लक्षण जैसे वजन में बदलाव, बालों का झड़ना, अनियमित मूड, थकान है तब भी डॉक्टर से मिलना चाहिए। डॉक्टर समस्या का पता लगाने और सही इलाज करने में आपकी मदद कर सकते हैं।