गंगा सप्तमी कब है? जानें सही तिथि, शुभ मुहूर्त और महत्व

धर्म { गहरी खोज } : सनातन धर्म में गंगा नदी को माता की रूप में पूजा जाता है। पौराणिक कथा के अनुसार, पवित्र गंगा राजा भगीरथ के पूर्वजों को मोक्ष दिलाने हेतु मां गंगा धरती पर अवतरित हुई थी। गंगा सप्तमी के दिन पवित्र गंगा में स्नान-ध्यान करने से व्यक्ति पर मां गंगा की कृपा होती है। साथ ही सभी प्रकार के पापों से छुटकारा मिलता है और आरोग्य जीवन का वरदान भी प्राप्त होता है।
गंगा सप्तमी कब है?
वैदिक पंचांग के अनुसार, गंगा सप्तमी यानी वैशाख माह शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि की शुरुआत 3 मई को सुबह 7 बजकर 51 मिनट पर होगी। वहीं तिथि का समापन अगले दिन 4 मई को सुबह 7 बजकर 18 मिनट पर होगा। उदया तिथि के अनुसार, गंगा सप्तमी का पर्व 3 मई को मनाया जाएगा।
गंगा सप्तमी शुभ मुहूर्त
पंचांग के अनुसार, गंगा सप्तमी के दिन स्नान-ध्यान और पूजा का शुभ मुहूर्त सुबह 10 बजकर 58 मिनट से लेकर दोपहर 1 बजकर 38 मिनट तक हैं। इस दौरान भक्तों को कुल 2 घंटे 40 मिनट का समय मिलेगा।
गंगा सप्तमी का महत्व
गंगा सप्तमी को गंगा जयंती भी कहा जाता है। कथाओं के अनुसार, इसी दिन पवित्र गंगा स्वर्ग से धरती पर अवतरित हुई थी। धार्मिक मान्यता के अनुसार, गंगा सप्तमी के दिन गंगा नदी में स्नान करने से सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है। साथ ही इस दिन स्नान-ध्यान के बाद गरीब और जरूरतमंदों को दान करने से अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है।